अदालत के आदेश के बाद पुलिस ने धोखाधड़ी का मामला दर्ज किया है। धौलाकुआं सुदौवाला निवासी सागर सिंह ने न्यायिक मजिस्ट्रेट प्रथम श्रेणी अदालत संख्या 2 पांवटा साहिब के माध्यम से माजरा थाने में मामला दर्ज करवाया है।
आरोप लगाया है कि रौनकी राम पुत्र किशना राम, मलकीत सिंह प्रधान पंचायत धौलाकुआं, जोगी राम पुत्र रौनकी राम तथा राम कुमार पुत्र रौनकी राम निवासी धौलाकुआं के निवासी है। एक आरोपी रौनकी राम हरियाणा के नगली का है। उसकी शादी धौलाकुआं में हुई थी।
वह 25-30 वर्षों से परिवार के साथ धौलाकुआं गांव में रहा रहा है। उसने अवैध रूप से सरकारी जमीन पर अतिक्रमण किया है। भूमि अब आईआईएम की ओर से अधिगृहित की गई है। शिकायतकर्ता सागर सिंह ने कहा कि आरोपी को 2013-14 में इंद्रा आवास योजना में 75000 रुपये का अनुदान दिया गया है।
योजना का लाभ लेने को अनिवार्य है कि लाभार्थी जमीन का मालिक होना चाहिए। जब आईआईएम ने सरकार से भूमि का अधिग्रहण किया तो वे प्रधान के पास पहुंचे। पंचायत में आरोपी ने कहा कि रौनकी राम एक ऋण विहीन व्यक्ति है और भूमि के अनुदान को पात्र है।
रौनकी राम की पत्नी धौलाकुआं में 2 बिस्वा भूमि की मालिक है। इनका हरियाणा में एक आवासीय घर भी है। डीसी को भूमिहीन और आवासहीन परिवार के अनुदान के लिए आवेदन किया है। आरोप है कि पंचायत प्रधान की झूठी सूचना के आधार पर रौनकी राम को 3 बिस्वा जमीन का पत्र जारी किया।
तीन अगस्त, 2019 को प्रमाण पत्र जारी किया और सिफारिश की गई कि आरोपी भूमिहीन और आवासहीन है। उधर, डीएसपी पांवटा वीर बहादुर ने कहा कि पंचायत प्रधान समेत आरोपियों के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है।
एएसआई माजरा थाना राजपाल चौहान की टीम मामले की जांच कर रही है। उधर, पंचायत प्रधान मलकीत सिंह ने सभी आरोपों को बेबुनियाद बताया है। उन्होंने कहा कि परिवार तीन दशकों से अधिक समय से स्थानीय पंचायत के सुदोवाला क्षेत्र में रहता है। पुलिस जांच में सभी तथ्य सामने आ जाएंगे।