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    Home»हिमाचल प्रदेश»नदी में ब्लीचिंग पाऊडर डाल कर मछलियों अवैध रूप से मारी जा रही है!
    हिमाचल प्रदेश

    नदी में ब्लीचिंग पाऊडर डाल कर मछलियों अवैध रूप से मारी जा रही है!

    By Himachal VartaDecember 4, 2020
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    ब्लीचिंग से मछलियों का कर रहे हैं अवैध शिकार, निशाना बन रहे उद्योग

    नाहन (हिमाचलवार्ता)। – नाहन विधानसभा क्षेत्र के अंतर्गत सलानी रिजॉर्ट के समीप नदी में इन दिनों मछलियों के अवैध शिकार का धंधा खूब जोरों पर चल रहा है। फिशरी विभाग की अनदेखी के चलते शिकारी रसायनों का उपयोग कर मछलियों का शिकार कर रहे हैं। जबकि कुछ लोग नदी में मर रही मछलियों की वजह उद्योगों को बता रहे हैं। हैरानी तो इस बात की है कि जिस हिमालयन पॉइंट गोल्ड रेजिन एंड केमिकल फैक्ट्री पर यह आरोप लगाया गया है उस फैक्ट्री में ऐसे किसी भी केमिकल का उपयोग नहीं होता है जो घातक हो।

    जबकि रेजिन पानी को कीटाणु रहित करने के लिए भी बेहतर माना जाता है। जो कि मनुष्य या जीव-जंतु के लिए घातक नहीं होता है। सीनियर केमिस्ट संजय शर्मा ने बताया कि बिरोजा उद्योग में ऐसा कोई भी केमिकल इस्तेमाल नहीं किया जाता है जो घातक हो और बीरोजे को पानी में डालने से मछलियों की जान नहीं जा सकती है।

    उधर स्थानीय लोगों ने फोन के माध्यम से इसकी जानकारी जब दी तो एक बड़ा खुलासा हुआ। नदी में मछली का शिकार करने वाला कांटा, शराब की खाली बोतल और ब्लीचिंग पाउडर मिला। अब आपको यह भी बता दें कि ब्लीचिंग पाउडर का इस्तेमाल कर मछलियों का शिकार करना दंडनीय अपराध है। बावजूद इसके नदी में शिकारियों के द्वारा अवैध रूप से ब्लीचिंग पाउडर का इस्तेमाल कर मछलियों को मारा गया। यहां यह भी बताना जरूरी है कि ब्लीचिंग पाउडर नदी के चलते पानी में डाला जाता है और दूर-दूर तक इस केमिकल युक्त पानी को पीने से मछलियां मारी जाती हैं और इस केमिकल का असर भी काफी देर तक पानी में रहता है। ब्लीचिंग से अवैध रूप से किए जाने वाले शिकार की बाबत पुष्टि इस बात से भी हो जाती है कि करीब 2 दिन पहले फूड इंडस्ट्री से ठीक ऊपर भी मछलियां इसी प्रकार मरी हुई थी।

    जो कि इन उद्योगों से ऊपर की ओर स्थित है ऐसे में साफ जाहिर हो रहा है कि बेवजा उद्योगों को परेशान व बदनाम करने की भी साजिश रची जा रही है। इसकी जानकारी एक दूसरे उद्योग के अधिकारी के द्वारा सानिया पंचायत प्रधान को भी दी गई थी। बरहाल ऐसे में सवाल उठता है कि जो उद्योग पहले से ही मंदी में जूझ रहे हो और उनको इस तरह बेवजह परेशान करने की साजिश रची जा रही हो तो सरकार को इन्हें संरक्षण भी देना होगा।

    वही नदियों में केमिकल का प्रयोग कर मछलियों का शिकार करने वाले शिकारियों के लिए भी कड़े दंड का प्रावधान करना होगा। उधर पॉल्यूशन कंट्रोल बोर्ड जिला सिरमौर के मुख्य अधिकारी पवन शर्मा ने बताया कि जिस जगह मछलियां मरी है वह स्थान फैक्ट्री से दूर है बावजूद इसके हमने पानी के सैंपल कलेक्ट कर लिए हैं।

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