नाहन। बीएसएनएल की ऑप्टिकल फाइबर का शहर में बैंड बज गया है। दरअसल इस सेवा को बीएसएनएल ने आउटसोर्स किया हुआ है। बताया जा रहा है कि आउटसोर्स के तहत सेवा मुहैया करवाने वाली कंपनी ने भी आगे इस सेवा को सबलेट कर दिया है। उपभोक्ताओं में यह भ्रम रहता है कि ऑप्टिकल फाइबर सेवा को बीएसएनएल ने ही उपलब्ध करवाया है, जबकि हकीकत ये नहीं है!
चंद माह पहले बीएसएनएल ने जब इस सेवा को लाॅन्च किया था तो बड़े-बड़े दावे किए गए थे। लेकिन धरातल पर सेवा दम तोड़ती नजर आ रही है। बीएसएनएल के सामान्य ब्राॅडबैंड सेवा की तुलना में यह सर्विस करीब तीन गुणा महंगी भी है। बीएसएनएल ने दावा किया था कि ऑप्टिकल फाइबर से 100 एमबी की स्पीड उपभोक्ताओं को मिलेगी, मगर ऐसा नहीं है। अगर उपभोक्ता खुद स्पीड टैस्ट करें तो घर बैठे ही इस सेवा की पोल खोल सकते हैं। सेवा के फ्लाॅप होने की वजह यह है कि आउटसोर्स वाली कंपनी उपभोक्ताओं को सर्विस मुहैया नहीं करवा पा रही।
सवाल इस बात पर उठता है कि बीएसएनएल द्वारा उपभोक्ताओं की आंखों में क्यों धूल झौंकी जा रही है। बीएसएनएल के अधिकारी आदर्श तोमर को कई मर्तबा संपर्क करने का प्रयास किया गया, लेकिन काॅल रिसीव नहीं हुई। इसी बीच सर्विस प्रोवाइड कर रही कंपनी के प्रतिनिधि आशीष ने कहा कि सेवा सामान्य रूप से चल रही है। दीगर है कि ऑप्टिकल फाइबर सेवा में उपभोक्ताओं के बिल भी बीएसएनएल की लेखा शाखा द्वारा जारी किए जाते हैं। यह जरूर है कि ऑप्टिकल सेवा की तुलना में बीएसएनएल की अपनी ब्राॅडबैंड सेवा सस्ती व टिकाऊ नजर आ रही है।