बगैर स्थाई नीति के 24 घंटे कोरोना वॉरियर बन देती है अपनी सेवाएं
नाहन (हिमाचलवार्ता)। सोमवार को यानी आज प्रदेश की तमाम आशा वर्कर के साथ नाहन की आशा वर्कर्स ने काम बंद करते हुए रोष प्रदर्शन किया। रोष प्रकट करने की मुख्य वजह अप्रैल माह से 500 रूपए मानदेय ना किया जाना था। अपनी समस्या को लेकर आशा वर्कर यूनियन की अध्यक्ष किरण ठाकुर, मीना शर्मा, अनीता शमीम, रितु, रेखा, कुसुम, शमीम तथा प्रीतम आदि दर्जनों आशा वर्कर अपनी मांगों को लेकर सांसद सुरेश कश्यप के पास भी गए।
किरण ठाकुर ने बताया कि आशा वर्कर ने पूरी निष्ठा के साथ कोरोना काल में कठिन से कठिन परिस्थितियों में भी अपना दायित्व निभाया है। उन्होंने कहा कि सरकार ने उन्हें कोरोना वॉरियर्स की उपलब्धि तो दी मगर अप्रैल माह से उनका मानदेय भी रोक दिया। उन्होंने बताया कि फिलहाल उन्हें मात्र 1500 रुपए मानदेय मिलता है जो कि इस महंगाई के दौर में किसी भी तरीके से पर्याप्त नहीं है।
मीना ठाकुर ने बताया कि उनके द्वारा हिम केयर कार्ड डाटा भी गांव-गांव जाकर इकट्ठा किया जाता है तथा सरकार के द्वारा उन्हें मोबाइल भी दिए गए हैं। मगर उन मोबाइल में सरकार ने अभी तक रिचार्ज की सुविधा भी नहीं दी है। मीना ठाकुर का कहना है कि बावजूद इसके उन्होंने अपनी सेवाएं आपात स्थिति में बनाए रखी। मगर किसी भी समस्या को झेलने की एक सीमा होती है।
उन्होंने बताया कि उन्हें 24 घंटे ड्यूटी देनी पड़ती है मगर उसकी एवज में उन्हें अगर भरपेट खाना भी ना मिल पाए तो क्या फायदा। आशा वर्कर यूनियन नाहन की तमाम आशा वर्कर अपनी समस्याओं को लेकर सांसद के पास भी गई। सांसद सुरेश कश्यप ने मामले की गंभीरता को देखते हुए जल्द से जल्द समस्या का समाधान करने का आश्वासन भी दिया। सांसद सुरेश कश्यप का कहना है कि वे जल्द मुख्यमंत्री से आशा वर्कर की समस्या की बाबत अवगत भी कराएंगे।