नाहन। डॉक्टर वाईएस परमार मेडिकल कॉलेज नहान में भी इलाज करवाना आसान नहीं है मरीजों तीमारदारों को खूब धक्के खाने पड़ते हैं | डॉक्टरों नर्सों तथा अन्य तकनीकी स्टाफ भी पूरा उपलब्ध नहीं है शिकायतों के अंबार है लेकिन हल अभी तक कुछ नहीं है उपचार के लिए जितनी अधिक संख्या में जिलेभर से मरीज आ रहे हैं, रेफर भी हो रहे हैं |
ओपीडी हो या अन्य विभागों में नंबर मुश्किल से आता है लंबी लंबी लाइने देखी जा सकती है इससे नाराज होकर बिना उपचार कराए भी लौट जाते हैं या निजी अस्पतालों में जाने को विवश होते हैं ऐसी चर्चाएं आम है अलबत्ता कहा जाता है कि जिसकी जरा सी जान पहचान होती है उनको बिना कष्ट उठाए ही सेवाएं मिलती हैं या कम से कम धक्के खाने पड़ते हैं कुछ भुक्त भोगियों ने नाम उजागर ना करने की शर्त पर बताया की गरीबों का न तो भगवान है और न ये बड़े छोटे डॉक्टर ही खूब परेशान होना पड़ रहा है इलाज करवाने नाहन क्या आ गए मुसीबत मोल ले ली दिन भर ओपीडी व एक से दूसरे तीसरे विभागों में धक्के खा खा कर मरीज भी तंग आकर अक्सर कह देते हैं छोड़ो बिना इलाज केही मरने दो ऐसे में आम मरीज जाए भी तो जाए कहां यदि छोटे अस्पतालों में ही सब कुछ ठीक-ठाक हो तो इससे बड़े अस्पतालों पर दबाव कम किया जा सकता है परंतु करें कौन सरकारी आश्वासन दावे भी झूठ के पुल्लिंदे ज्यादा होते हैं